
रायगढ़/पुसौर से बड़ी खबर
रायगढ़ 10 जुलाई 2025। पुसौर विकासखंड के कांदागढ़ ग्राम की शासकीय उचित मूल्य दुकान में वर्ष 2018 में हुए भारी राशन घोटाले का खुलासा हुआ है। इस मामले में महिला सरपंच सहित चार आरोपियों को पुलिस ने गिरफ्तार कर न्यायिक रिमांड पर भेज दिया है। आरोपियों पर चावल, शक्कर, नमक और केरोसिन की हेराफेरी कर शासन को लाखों रुपये का नुकसान पहुंचाने का आरोप है।
प्रकरण में सहायक खाद्य अधिकारी अंजनी कुमार राव की रिपोर्ट पर थाना पुसौर में अपराध क्रमांक दर्ज किया गया। रिपोर्ट के अनुसार, जून से अगस्त 2018 तक शासन द्वारा भेजे गए खाद्यान्न का वितरण नहीं कर सचिव कृषचंद कर्ष (अब मृत), सरपंच सोमति सिदार, गौरहरि निषाद, प्रशांत सेठ एवं टिकेश्वर सेठ ने मिलकर सरकारी अमानत में खयानत की।
जांच में 232.38 क्विंटल चावल, 14.53 क्विंटल शक्कर, 4.16 क्विंटल नमक एवं 1369 लीटर केरोसिन की गड़बड़ी पाई गई। इस पर आरोपियों के विरुद्ध भारतीय दंड संहिता की धारा 409, 34 तथा आवश्यक वस्तु अधिनियम 1955 की धारा 3, 7 के तहत मामला दर्ज कर जांच प्रारंभ की गई।
पुलिस विवेचना के दौरान आरोपियों ने जुर्म कबूल किया। पर्याप्त साक्ष्य मिलने के बाद चारों आरोपियों – सोमति सिदार, गौरहरि निषाद, प्रशांत सेठ और टिकेश्वर सेठ – को गिरफ्तार कर न्यायिक हिरासत में भेजा गया है।
इस कार्रवाई में पुसौर थाना प्रभारी निरीक्षक रामकिंकर यादव, एएसआई उमाशंकर विश्वाल और उनकी टीम की महत्वपूर्ण भूमिका रही।
अब सवाल यह है कि इतने वर्षों तक यह घोटाला दबा कैसे रह गया और प्रशासनिक निगरानी कैसे चूक गई?
जनता अब न्याय और जवाबदेही की मांग कर रही है।